April 29, 2024

घूसतंत्र : SP और दलाल की रोज 8-10 बार वॉट्सएप काॅल पर लंबी बातें होती थीं, तलाशी के बाद ही लोगों से मिलते थे

जयपुर। हाइवे निर्माण करने वाली कंपनी से मंथली वसूली का खेल 7 महीने से चल रहा था। पुलिस और प्रशासनिक अधिकारियाें के साथ ही रेवेन्यू, परिवहन से जुड़े अधिकारी मंथली ले रहे थे। कंपनी से एसीबी ने मासिक बंधी लेने वाले अफसरों की सूची ली है।

दौसा के तत्कालीन एसपी मनीष अग्रवाल और बुधवार को 5 लाख रु. घूस लेते गिरफ्तार किए गए दौसा एसडीएम पुष्कर मित्तल के बीच भ्रष्टाचार का गठजोड़ भी सामने आया है। थाना प्रभारी कंपनी के अधिकारियाें काे धमकाते थे कि जाकर एसपी से मिलाे नहीं ताे बुरा हाे जाएगा।

इधर, एसपी ने भी थाना प्रभारियाें काे पाबंद किया था कि वे अपने-अपने इलाके में निगरानी रखें कि कंपनी ने मिट्टी के गड्ढे तय मापदंड से ज्यादा ताे नहीं खाेद रखे। अगर ज्यादा खाेद रखे हैं ताे उसकी तत्काल रिपाेर्ट बनाकर एसपी ऑफिस भेजें। इस संबंध में एसपी ने एसडीएम के लेटर के आधार पर सभी थाना प्रभारियाें काे 23 दिसंबर काे आदेश भी जारी कर दिए थे।

इसके चलते थानाें की पुलिस अपनी मूल जिम्मेदारी छाेड़कर कंपनी की ओर से खाेदे जा रहे गड्ढाें काे तलाशने में लगी रहती थी। एसपी से दलाल नीरज की हर दिन आठ से दस बार वाट्स एप काॅलिंग हाेती थी। नीरज के जब्त माेबाइल से इसका खुलासा हुआ है। साथ ही लेन-देन काे लेकर वाॅट्सएप चैटिंग हाेती थी।

एसीबी ने अभी इसका खुलासा नहीं किया है। वहीं, एसीबी ने गुरुवार को पुष्कर मित्तल, बांदीकुई एसडीएम पिंकी मीणा व दलाल नीरज मीणा काे काेर्ट में पेश किया। जहां से दाेनाें एसडीएम काे जेल भेज दिया गया जबकि नीरज मीणा काे पूछताछ के लिए दाे दिन के रिमांड पर लिया है।

पकड़े जाने का डर इतना कि…परिवादी की पूरी तलाशी लेने के बाद ही मिलते थे एसपी, पूरी बात सुनने के बाद कहते थे- नीरज से मिल लाे

एसीबी की जांच में आया है कि काेई भी परिवादी एसपी मनीष अग्रवाल से मिलने जाता ताे पहले उसकी पूरी तलाशी ली जाती थी। माेबाइल बाहर रखवा लिया जाता था। फिर एसपी से मुलाकात हाेती थी। पूरी बात सुनकर एसपी परिवादी काे एक ही बात कहते थे कि नीरज से मिल लाे। नीरज से मिलने के बाद माेलभाव हाेता था। नीरज के माेबाइल में एसीबी काे एसपी से की गई लेन-देन संबंधी कई चैट मिली हैं, जो घूस के खेल का सबूत हैं।

दलाल की लोकेशन अधिकांश एसपी के घर व ऑफिस में मिली
एसपी मनीष अग्रवाल का दलाल नीरज मीणा अधिकांश समय पुलिस अधीक्षक कार्यालय व एसपी आवास पर ही रहता था। एसीबी ने नीरज के माेबाइल की लाेकेशन जांची ताे इसका खुलासा हुआ। नीरज दाैसा में किन-किन पुलिस अधिकारियाें के संपर्क में था इसका खुलासा काॅल डिटेल के बाद हाे पाएगा। इसके अलावा एसपी के जब्त किए गए दोनों मोबाइलों से भी घूस के इस खेल के कई और राज खुल सकते हैं।

एसडीएम पुष्कर घूस का लेनदेन अपने आवास पर किया करते थे
एसीबी ने पुष्कर मित्तल के मालवीय नगर नंदपुरी स्थित आवास व पिंकी मीणा की चाैमू स्थित आवास की तलाशी ली लेकिन सर्च में कुछ नहीं मिला। पुष्कर के खिलाफ कुछ लाेगाें ने करीब दस दिन पहले जिला कलेक्टर काे भी शिकायत की थी। इसकी जांच हो रही है। पुष्कर ने आवास के बाहर लिख रखा था- ऑफिस संबंधी काम के लिए ऑफिस ही आएं। मगर घूस का लेन-देन वे सीधे घर से ही किया करते थे।

एसीबी डीजी का नया खुलासा…हाइवे निर्माण में लगी दूसरी कंपनियों के लोगों ने भी शिकायत की एसडीएम-एसपी के दलाल घूस लेते थे

एसीबी डीजी बीएल साेनी ने बताया कि गुरुवार काे हाइवे निर्माण में लगी दूसरी कंपनियाें के लाेगाें ने भी शिकायत की है कि उनसे भी एसडीएम, एसपी का दलाल, तहसीलदार व पटवारी मासिक बंधी लेते थे। हम जांच कर रहे हैं। एसपी मनीष से बरामद दाेनाें माेबाइल शुक्रवार काे एफएसएल भेजेंगे। 

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